नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ योजना का शुभारम्भ 22 जनवरी 2015 को देश की लड़कियों के जीवन स्तर को ऊपर उठाने और उनके भविष्य को उज्जवल बनाने के लिए किया गया था। इस अभियान के शुरू होते ही इसे खूब सराहा गया। वहीं अब इस अभियान के मद्देनज़र एक फिल्म बनाई गयी है। फिल्म का नाम है ‘‘टेल्स आफ राइजिंग रानी’। फिल्म का पहला पोस्टर दर्शकों के सामने है।
फिल्म समारोहों में आठ पुरस्कार जीतकर फिल्म ‘टेल्स आफ राइजिंग रानी’ ने पीएम मोदी के ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ अभियान को आगे बढ़ाते हुए पूरी दुनिया में भारत का गौरव बढ़ाया है। उल्लेखनीय है कि प्रकाश सैनी द्वारा लिखित, निर्देशित और संपादित फिल्म ‘टेल्स आफ राइजिंग रानी’ का निर्माण अशोक कुमार शारना द्वारा स्ट्रिप्स एंटरटेनमेंट एलएलपी के बैनर तले किया गया है।
पीएम मोदी की सोच को आगे ले जानेवाली इस फिल्म की कहानी एक बालिका के इर्द-गिर्द घूमती है, जो अपनी चचेरी बहन को न्याय दिलााने के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ सोच के तहत पूरी सिस्टम के साथ भिड़ जाती है। इसकी पृष्ठभूमि में ग्रामीण भारत है, जहां इन घटनाओं पर किसी का ध्यान नहीं जाता है, जिससे बच्चियों को न्याय नहीं मिल पाता है।
सच्ची घटनाओं और अन्यायपूर्ण पंचायत प्रणाली के आधार पर विकसित इस फिल्म में दिखाया गया है कि समाज की दकियानूसी सोच और मानसिकता के कारण कैसे एक मासूम लड़की की जिंदगी बिखर जाती है। फिल्म की खासियत है कि इसमें प्रमुख भूमिकाएं वास्तव में लोगों ने ही निभाई है।
फिल्म को आधिकारिक तौर पर विभिन्न फिल्मोत्सवों में प्रदर्शित किया गया है और इस फिल्म में इंडी मेमे फिल्म फेस्टिवल (ऑस्टिन), 53वें वर्ल्डफेस्ट ह्यूस्टन, लंदन इंडिपेंडेंट फिल्म अवाड्र्स, वल्र्ड फिल्म कार्निवल (सिंगापुर), ओनिरोस फिल्म अवार्ड्स (इटली) में पुरस्कार विजेता बनी वहीं लंदन ग्रीक फिल्म फेस्टिवल, लॉस एंजेलिस फिल्म फेस्टिवल अवार्ड्स में सेमी फाइनालिस्ट रही।
इसके अलावा न्यूयॉर्क शहर स्वतंत्र फिल्म समारोह, कोलंबिया फिल्म कला महोत्सव, इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में भी इसका आधिकारिक चयन हुआ। कुल मिलाकर इस फिल्म ने दुनियाभर के फेस्टिवल सर्किट में काफी प्रशंसा अर्जित की है, जिसने भारत का सिर विश्व स्तर पर गर्व से ऊंचा किया है।