बजट सत्र : राष्ट्रपति के अभिभाषण का बहिष्कार ‘दुर्भाग्यपूर्ण’: BJP

भाषा भाषा
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नई दिल्ली। भाजपा ने संसद के बजट सत्र के पहले दिन शुक्रवार को राष्ट्रपति अभिभाषण का बहिष्कार करने के लिए विपक्षी दलों को आड़े हाथों लेते हुए उनके रवैये को ‘‘दुर्भाग्यपूर्ण’’ करार दिया और कहा कि वह देश के संवैधानिक मुखिया हैं और राजनीतिक मतभेदों से ऊपर हैं। बता दें कि राष्ट्रपति के अभिभाषण के दौरान कांग्रेस के लोकसभा सदस्य रवनीत सिंह बिट्टू केंद्रीय कक्ष पहुंचे और विवादों में घिरे तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ नारेबाजी की।

किसानों के आंदोलन के मुद्दे को लेकर कांग्रेस समेत 20 से अधिक पार्टियों ने संसद के दोनों सदनों की संयुक्त बैठक में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण का बहिष्कार किया है। भाजपा नेता और केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि उसका अहंकार ही उसकी वास्तविक समस्या है क्योंकि उसे लगता है कि जनादेश पक्ष में ना होने के बावजूद शासन करना उसका अधिकार है।

उन्होंने कहा कि विपक्षी दलों ने संसदीय परंपराओं का उल्लंघन किया और कहा कि संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के दौरान तमाम घोटालों के बावजूद भाजपा ने कभी राष्ट्रपति के अभिभाषण का बहिष्कार नहीं किया। कांग्रेस पर हमला जारी रखते हुए उन्होंने कहा कि 26 जनवरी को किसानों द्वारा टैक्टर परेड के नाम पर राजधानी दिल्ली में की गई हिंसा की उसने अभी तक निंदा नहीं की है।

कांग्रेस के अलावा राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, नेशनल कांफ्रेंस, द्रमुक, तृणमूल कांग्रेस, शिवसेना, सपा, राजद, माकपा, भाकपा, आईयूएमएल, आरएसपी, पीडीपी, एमडीएमके, केरल कांग्रेस (एम) और एआईयूडीएफ ने राष्ट्रपति अभिभाषण का बहिष्कार किया। बाद में आम आदमी पार्टी, शिरोमणि अकाली दल, जनता दल (एस) और बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने भी दोनों सदनों की संयुक्त बैठक में शामिल नहीं होने का फैसला किया।