नई दिल्ली। प्रसिद्ध भोजपुरी लेखक पांडेय कपिल द्वारा लिखे गए लोकप्रिय भोजपुरी ऐतिहासिक उपन्यास ‘फुलसुंघी’ का अब अंग्रेजी में अनुवाद किया गया है।
इसे अंग्रेजी में अनुदित होने वाला पहला भोजपुरी उपन्यास बताया जा रहा है जिसे अगले महीने पेंग्विन रैंडम हाउस इंडिया के ‘हैमिल्टन’ इम्प्रिंट के तहत प्रकाशित किया जाएगा। इसका अनुवाद लेखक गौतम चौबे ने किया है।
औपनिवेशिक बिहार की पृष्ठभूमि वाला यह उपन्यास बहुत ही लोकप्रिय है और रहस्यवादी कवियों में से एक महेंद्र मिश्रा तथा गणिका ढेलाबाई के बीच के अपूर्ण प्यार की कहानी है। दोनों अप्रत्याशित परिस्थितियों के कारण एक-दूसरे के करीब आते हैं लेकिन उन्हें इसके चलते काफी कुछ झेलना भी पड़ता है।
चौबे ने कहा, ‘‘ मैं इस बात को लेकर रोमांचित हूं कि पेंग्विन रैंडम हाउस इंडिया ‘फुलसुंघी’ का अंग्रेजी अनुवाद प्रकाशित करने जा रहा है। असाधारण उपन्यास का अनुवाद लेखकों, भाषा-विद्वानों एवं भोजपुरी प्रेमियों को एक साथ लाया है। मुझे खुशी है कि बाकी दुनिया भोजपुरी संस्कृति के एक ऐसे पहलू को जान पाएगी जिसकी उसने कभी कल्पना नहीं की थी और आशा है कि वह उसकी समृद्धि की प्रशंसा करेगी।’’
प्रकाशक के अनुसार मुजरा, महफिल, कानूनी लड़ाइयों एवं साजिशों से भरा 1977 का यह उपन्यास पढ़ने में रोचक होगा और भुला दी गई दुनिया के सास्ंकृतिक मूल्यों को जीवंत बना देगा।
अभिनेता मनोज वाजपेयी ने इसकी अनुदित कृति की प्रशंसा की है