श्रीहरिकोटा (आंध्रप्रदेश)। भारत ने कोविड-19 महामारी के बीच दूसरे और अंतिम प्रक्षेपण अभियान के तहत बृहस्पतिवार को अंतरिक्ष केंद्र से अपने ध्रुवीय रॉकेट से नवीनतम संचार उपग्रह सीएमएस-01 को सफलतापूर्वक प्रक्षेपित किया।
इसरो के भरोसेमंद ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान पीएसएलवी-सी50 ने श्रीहरिकोटा के अंतरिक्ष केंद्र में प्रक्षेपण स्थल से रवाना होने के 20 मिनट बाद उपग्रह को कक्षा में स्थापित कर दिया।
सीएमएस-01 अंतरिक्ष एजेंसी का 42 वां संचार उपग्रह है और उपग्रह के जरिए अंडमान निकोबार द्वीप समूह और लक्षद्वीप समेत भारत के विभिन्न हिस्सों में फ्रीक्वेंसी स्पेक्ट्रम के विस्तारित सी बैंड की सेवाएं मिलेंगी।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के मुताबिक, उपग्रह का जीवनकाल सात साल से ज्यादा का होगा।
पीएसएलवी-सी50 एक्सएल संरचना (छह स्ट्रेप ऑन मोटर से लैस) में पीएसएलवी की 22 वीं उड़ान है और श्रीहरिकोटा से 77 वीं बार प्रक्षेपण यान को प्रक्षेपित किया गया है।
इस साल कोविड-19 महामारी के बीच इसरो के पहले अभियान में पीएसएलवी सी-49 (ईओएस) पृथ्वी प्रेक्षण उपग्रह और नौ अन्य उपग्रहों को सात नवंबर को प्रक्षेपित किया गया था। इसरो के लिए आज का प्रक्षेपण 2020 का अंतिम अभियान है।