जब सिद्धांतों की लड़ाई हो तो विरोध अक्सर स्वैच्छिक और समर्थन प्रबंधित होता है: सिब्बल


उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ जब सिद्धांतों के लिए लड़ रहे हैं तो जिन्दगी में, राजनीति में, न्याय में, सामाजिक कार्यकर्ताओं के बीच, सोशल मीडिया मंचों पर विरोध अक्सर स्वैच्छिक होता है, लेकिन समर्थन अक्सर प्रबंधित होता है।’’


मंज़ूर अहमद मंज़ूर अहमद
देश Updated On :

नई दिल्ली। कांग्रेस के संगठन में व्यापक बदलाव और पूर्णकालिक अध्यक्ष की मांग को लेकर सोनिया गांधी को पत्र लिखने वाले नेताओं में शामिल कपिल सिब्बल ने बुधवार को कहा कि जब सिद्धांतों के लिए लड़ाई होती है तो विरोध अक्सर स्वैच्छिक होता है और समर्थन अक्सर प्रबंधित किया होता है।

उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ जब सिद्धांतों के लिए लड़ रहे हैं तो जिन्दगी में, राजनीति में, न्याय में, सामाजिक कार्यकर्ताओं के बीच, सोशल मीडिया मंचों पर विरोध अक्सर स्वैच्छिक होता है, लेकिन समर्थन अक्सर प्रबंधित होता है।’’

इससे पहले सिब्बल ने मंगलवार को कहा था कि यह एक पद के बारे में नहीं है, बकि यह देश के लिए है, जो सबसे ज्यादा मायने रखता है।

गौरतलब है कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सिब्बल ने ये टिप्पणियां उस वक्त की है कि जब गत सोमवार को कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में राहुल गांधी की एक कथित टिप्पणी और फिर उन पर सिब्बल की तरफ से निशाना साधे जाने के बाद विवाद हो गया था। बाद में सिब्बल ने कहा कि खुद राहुल गांधी ने उन्हें सूचित किया कि उनके हवाले से जो कहा गया है वो सही नहीं हैं और ऐसे में वह अपना पहले का ट्वीट वापस लेते हैं।

खबरों में कहा गया था कि राहुल गांधी ने पत्र लिखने वाले नेताओं पर भाजपा के साथ साठगांठ का आरोप लगाया, हालांकि बाद कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि राहुल गांधी ने सीडब्ल्यूसी की बैठक में ऐसी कोई टिप्पणी नहीं की।