सोनिया गांधी का बयान- राष्ट्रपति ‘बेचारी’ थक गयी थीं, अब बीजेपी ने पूछा- कब तक अपमान करेंगी?


राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु के अभिभाषण के बाद कांग्रेस सांसद सोनिया गांधी की टिप्पणी पर सियासी बवाल मच गया है।इसे लेकर अब राष्ट्रपति भवन की ओर से नाराजगी जताई गई है।


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कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के अभिभाषण के बाद शुक्रवार को कहा कि वह अपने संबोधन के आखिर तक थक गई थीं और बहुत मुश्किल से बोल पा रही थीं। उन्होंने संसद परिसर में संवाददाताओं से कहा, ‘‘अंत तक राष्ट्रपति बहुत थक गई थीं…वह मुश्किल से बोल पा रही थीं, बेचारी।’’

अब इस पर सियासत शुरू हो गई है। उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने इस पर प्रतिक्रिया दी है। सोशल मीडिया साइट एक्स पर केशव ने लिखा- आदिवासी और पिछड़े समाज का अपमान करना कांग्रेस की आदत बन गई है! कांग्रेस को न आदिवासी समाज की बेटी का राष्ट्रपति बनना पसंद आया, न ही पिछड़ी जाति से गरीब माँ के बेटे का प्रधानमंत्री बनना। अब कांग्रेस सुप्रीमो सोनिया गांधी जी ने ‘बेचारी’ शब्द का इस्तेमाल कर न केवल राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी बल्कि पूरे आदिवासी समाज का अपमान किया है। क्या कांग्रेस आदिवासी, अनुसूचित जातियों और ओबीसी को हमेशा अपमानित करती रहेगी? कांग्रेस नेतृत्व को तुरंत सार्वजनिक रूप से माफी माँगनी चाहिए!

राष्ट्रपति मुर्मू ने बजट सत्र के पहले दिन संसद के दोनों सदनों को संबोधित किया और सरकार की उपलब्धियों का उल्लेख किया।

मुर्मू ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के इस तीसरे कार्यकाल में तीन गुना गति से काम हो रहा है तथा ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ और वक्फ (संशोधन) विधेयक जैसे कानूनों पर तेज गति से कदम आगे बढ़ाया गया है।

बजट 2025-26 पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु के अभिभाषण के बाद कांग्रेस सांसद सोनिया गांधी की टिप्पणी पर सियासी बवाल मच गया है। इसे लेकर अब राष्ट्रपति भवन की ओर से नाराजगी जताई गई है। राष्ट्रपति भवन की ओर से शुक्रवार (31 जनवरी 2025) को जारी बयान में कहा गया, “राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कांग्रेस पार्टी के कुछ नेताओं की टिप्पणियों से इस शीर्ष पद की गरिमा को ठेस पहुंची है।”