HRD मंत्रालय का फरमान, आइसोलेशन सेंटर में बदलने जा रहे हैं देश के ये 570 नवोदय विद्यालय


शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ का कहना है कि मौजूदा स्थिति को देखते हुए नवोदय विद्यालय के आयुक्त को सलाह दी गई है कि खाली छात्रावासों को संबंधित जिला प्रशासनों को उपलब्ध कराएं ताकि कोविड-19 महामारी के खिलाफ जंग में मदद मिल सके.



आइसोलेशन सेंटर के लिए होगा नवोदय विद्यालय छात्रावासों का इस्तेमाल 
देश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों के अनुसार, भारत में पॉजिटिव कोरोना वायरस के मामलों की संख्या बढ़कर 650 हो गई जिनमें 594 सक्रिय मामलों सहित, 42 डिस्चार्ज शामिल हैं. इसके अलावा 13 लोगों की मृत्यु हो गई है. इस बीच देशभर के नवोदय विद्यालयों के खाली छात्रावासों को चिकित्सा केंद्रों के तौर पर इस्तेमाल करने का निर्देश जारी हुआ है. 

जिला प्रशासन को हैण्ड ओवर होंगे सभी आवासीय विद्यालय 
केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने नवोदय विद्यालयों को अपने खाली छात्रावासों को संबंधित जिला प्रशासनों को उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है, ताकि इन छात्रावासों का इस्तेमाल चिकित्सा केंद्रों के तौर पर किया जा सके. शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ का कहना है कि मौजूदा स्थिति को देखते हुए नवोदय विद्यालय के आयुक्त को सलाह दी गई है कि खाली छात्रावासों को संबंधित जिला प्रशासनों को उपलब्ध कराएं ताकि कोविड-19 महामारी के खिलाफ जंग में मदद मिल सके. 

सभी परमानेंट विद्यालयों का होगा इस्तेमाल 
सचिव अमित खरे ने झारखंड सहित सभी राज्यों में स्थित नवोदय विद्यालय में कोरोना पीड़ित मरीजों के लिए आइसोलेशन वार्ड खोलने के बाबत सभी राज्य सरकारों को पत्र लिखा है. पत्र में कहा गया है कि देश के विभिन्न जिलों में कारोना को लेकर काफी परेशानी हो रही है. ऐसे में देश के विभिन्न राज्यों में स्थित जवाहर नवोदय विद्यालयों के आवासीय परिसर जो केंद्रीय मानव संसाधन विकास विभाग के अंतर्गत हैं, में अस्थाई आइसोलेशन कैंप या मेडिकल सुविधा उपलब्ध कराई जा सकती है. उन्होंने सभी राज्यों को लिखे पत्र में कहा है कि देश भर में 645 जिलों में जवाहर नेहरू जवाहर नवोदय विद्यालय कार्यरत हैं. इनमें सिर्फ तमिलनाडु में 75 जवाहर नवोदय विद्यालय अस्थाई परिसर में चल रहे हैं. इसलिए वहां हॉस्टल या अन्य आधारभूत संरचनाएं कम या सीमित है. जबकि कुछ जवाहर नवोदय विद्यालयों से वहां के छात्र हॉस्टल से बाहर नहीं जा पाए हैं.

सभी नवोदय विद्यालयों में है ग्रीष्मकालीन अवकाश  
आपको बता दें कि कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप की वजह से जवाहर नवोदय विद्यालयों ने अपनी गर्मियों की छुट्टियों को पहले ही घोषित कर दिया था. ये विद्यालय 21 मार्च से लेकर 21 मई तक बंद कर दिए गए हैं और ऐसे में इनके खाली पड़े छात्रावासों का इस्तेमाल कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों के इलाज के लिए चिकित्सा केंद्रों के रूप में इस्तेमाल करने के निर्देश जारी हुए हैं. जेएनवी केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से संबद्ध स्वायत्त संस्थान हैं. इन संस्थानों का संचालन मानव संसाधन मंत्रालय के तहत आने वाली स्वायत्त संस्था नवोदय विद्यालय समिति करती है. कोरोना वायरस से बचाव के लिए देशभर के कई राज्यों में लॉक डाउन किया गया है और कई राज्यों में कर्फ्यू लगाया गया है ताकि लोग अपने ही घरों में रहें और घरों से बाहर न निकलें. स्कूल और कॉलेजों को पहले से ही बंद कर दिया गया है और परीक्षाओं को स्थगित कर दिया है.



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