राज्यसभा उपचुनाव : सुशील मोदी की राह में रीना पासवान बन सकती हैं रोड़ा


विपक्ष सुशील मोदी के खिलाफ स्व. रामविलास पासवान की विधवा पत्नी रीना पासवान को उम्मीदवार बनाने के फेर में है। उसका कहना है कि यह सीट दलित कोटे की है, इसलिए किसी दलित को ही उम्मीदवार बनाया जाना चाहिए।


अमरनाथ झा
बिहार Updated On :

पटना। बिहार से राज्य सभा की खाली सीट पर भारतीय जनता पार्टी ने पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी को उम्मीदवार बनाने की घोषणा कर दी है, पर लगता नहीं कि उनका राज्यसभा जाना आसान नहीं दिखता। विपक्ष उनके खिलाफ स्व. रामविलास पासवान की विधवा पत्नी रीना पासवान को उम्मीदवार बनाने के फेर में है। उसका कहना है कि यह सीट दलित कोटे की है, इसलिए किसी दलित को ही उम्मीदवार बनाया जाना चाहिए।

वैसे बिहार राज्यसभा चुनावों में धनबल के इस्तेमाल के लिए बदनाम रहा है। ऐसे में ऐन मौके पर किसी धन्नासेठ का नाम सामने आ जाने की संभावना से भी इनकार नहीं किया जा सकता। विधानसभा में पक्ष और विपक्ष की सदस्य संख्या में बहुत कम फासला होने से किसी उम्मीदवार की जीत के प्रति आश्वस्त नहीं हुआ जा सकता।

भाजपा के उम्मीदवार सुशील मोदी दो दिसंबर को अपना नामांकन पत्र दाखिल करने वाले हैं। वे बिहार में सबसे लंबे समय तक उप मुख्यमंत्री रहे हैं। वे 2005 में बिहार के तीसरे उप मुख्यमंत्री बने। और 11 वर्षों तक लगातार इस पद पर रहे। फिर जुलाई 2017 से वर्तमान सरकार के बनने तक इस पद पर बने रहे।

राजनीति में उनका प्रवेश बिहार छात्र आंदोलन के दौरान हुआ और संसदीय राजनीतिक में 1990 में पटना केन्द्रीय क्षेत्र से विधायक चुने जाने के साथ हुआ। इस क्षेत्र से वे 1995 औप 2000 में लगातार विधायक रहे। 2004 में वे भागलपुर से लोकसभा सदस्य चुने गए लेकिन 2005 में लोकसभा से इस्तीफा देकर उप-मुखयमंत्री बन गए। बाद में मनोयन के माध्यम से विधान परिषद के सदस्य बने। उनके पहले अनुग्रह नारायण सिंह और कर्पूरी ठाकुर उप-मुख्यमंत्री रह चुके हैं।



Related