राजधानी कॉलेज में छात्रों ने किया गांधी विचार को जीवंत

स्टोरी टेंलिंग में 12 और पेंटिंग प्रतियोगिता में 15 छात्र-छात्राओं ने अपने कला का प्रदर्शन किया। स्टोरी टेलिंग प्रोग्राम का विषय “जब मैं बापू से मिला” था, तो पेंटिंग का विषय “महामारी में गांधी” था।

नई दिल्ली। महात्मा गांधी की 153 वीं जयंती के उपलक्ष्य में दिल्ली विश्वविद्यालय के राजधानी कॉलेज में छात्रों के बीच गांधी विचार का बीज बोने और उनके अंदर रचनात्मक विकास के लिए कई तरह के कार्यक्रम का आयोजन हो रहा है। इस तीन दिवसीय कार्क्रकम में पहले दिन भाषण एवं निबंध प्रतियोगिता का आयोजन किया गया तो दूसरे दिन यानि आज स्टोरी टेलिंग ओर पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। स्टोरी टेंलिंग में 12 और पेंटिंग प्रतियोगिता में 15 छात्र-छात्राओं ने अपने कला का प्रदर्शन किया। स्टोरी टेलिंग प्रोग्राम का विषय “जब मैं बापू से मिला” था, तो पेंटिंग का विषय “महामारी में गांधी” था।

राजधानी कॉलेज के छात्र-छात्राओं ने कहानी और पेंटिंग में गांधी विचार को जीवंत कर दिया। सबसे बड़ी बात यह रही कि ग्रेजुएशन के छात्र-छात्राओं ने जिस तरीके से गांधी जी को केंद्र में रख कर कहानी और चित्रकारी का प्रदर्शन किया, उसे देखकर कहा जा सकता है कि नई पीढ़ी में गांधी के विचार एवं दर्शन के साथ ही गांधी के जीवन के हर पहलू से छात्र परिचित होना चाहते हैं। युवाओं की कहानी और पेंटिंग में गांधी विचार के प्रति परिपक्वता झलक रही थी।

कार्यक्रम का उद्घाटन करते हुए कॉलेज के प्राचार्य प्रो. राजेश गिरि ने कहा कि, “ गांधी के सत्य और अहिंसा के सिद्धांत को अव्यवहारिक कहने वालों की संख्या बहुत है। गांधी विचार एवं सिद्धांत को आज के युग में कारगर नहीं कहा जाता है। लेकिन सच्चाई यह है कि गांधी के एक सिद्धांत- सत्य को यदि हम मजबूती से पकड़ लें तो हमारी अधिकांश समस्याएं खत्म हो जायेगी।”

उन्होंने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि सच बोलने की हिम्मत अगर रहेगी तो हमारा राह आसान रहेगा। हम आशा करते हैं कि इस आयोजन से छात्र ईमानदारी और मेहनत की सीख लेकर वापस जाएं तो उनके भविष्य के लिए अच्छा होगा।

कार्यक्रम में गांधी स्मारक निधि के राष्ट्रीय सचिव संजॉय सिंह ने युवाओं में गांधी की लोकप्रियता और उनके विचारों को आत्मसात करने को भविष्य के लिए सार्थक संदेश बताया। हेना चक्रवर्ती ने छात्रों के कहानी और पेंटिंग की भूरि-भूरि प्रशंसा करते उनके उज्जवल भविष्य की कामना की।

आज के दिन कार्यक्रम का सबसे आकर्षक पहलू छात्रों द्वारा गांधी से मिलने की कहानी का बयां करना था। एक-एक करके छात्रों ने गांधी के सत्य, अहिंसा, भाईचारा और विभिन्न सिद्धांतों को आधार बनाकर कहानियों को सुनाया। हर कहानी का यह संदेश था कि गांधी के विचार आज भी प्रासंगिक हैं। गांधी के विचार मानवता और विश्व में सार्थक बदलाव लाने में सक्षम हैं। बशर्ते आप उसे ईमानदारी से लागू करें।
पेंटिंग में छात्रों ने गांधी के स्वच्छता से लेकर यातायात के नियमों और दिनचर्या से संबंधित तमाम विषयों को समेटते हुए पेंटिंग बनाया। चित्र एवं शब्द के माध्यम से छात्रों ने गांधी के विचार को जीवंत कर दिया।

कॉलेज का ‘गांधी स्वाध्याय मंडल’ छात्रों के बीच गांधी विचार गोष्ठी का आयजन करता रहता है। इस बार कॉलेज के ‘गांधी स्वाध्याय मंडल’ ने ‘अहिंसा पखवाड़ा’ में तीन दिवसीय आयोजन में 11 अक्टूबर को “सांप्रदायिकता के नए खतरे और महात्मा गांधी” विषय पर एक भाषण एवं “राष्ट्रपिता के नाम एक चिट्ठी” पत्र लेखन प्रतियोगिता का आयोजन किया। जिसमें दिल्ली विश्वविद्य़ालय के विभिन्न कॉलेजों के छात्रों ने भाग लिया। भाषण एवं निबंध प्रतियोगिता में प्रथम, द्वतीय और तृतीय स्थान पर पाने वाले छात्रों को पुरस्कृत भी किया गया।

कार्यक्रम के अंत में राजधानी कॉलेज के हिंदी विभाग के प्राध्यापक डॉ. राजीव रंजन गिरि ने छात्रों को पुरस्कृत किया और आए हुए अतिथियों का धन्यवाद किया। कार्यक्रम में गांधी स्मारक निधि के राष्ट्रीय सचिव संजॉय सिंह, हेना चक्रवर्ती और डॉ. जसबीर त्यागी की उपस्थिति उल्लेखनीय रही।

First Published on: October 12, 2022 8:36 PM
Exit mobile version