भोपाल। राजधानी भोपाल में एक युवती ने अपने पिता के हत्यारों के खिलाफ कार्रवाई न करने आरोप लगाते हुए रविवार को अपनी कलाई की नसों को ब्लेड से काटकर आत्महत्या करने की कोशिश की और इसका वीडियो ट्विटर पर डाल दिया। हालांकि, पुलिस का कहना है कि युवती की शिकायत पर कार्रवाई की गई।
किरण राजपूत नाम की इस लड़की ने सुसाइड नोट के साथ एक वीडियो ट्विटर पर पोस्ट करते हुए कहा कि पुलिस ने आरोपियों के साथ मिलकर हमारा प्रकरण बिगाड़ा है। वीडियो में वह हाथ जोड़कर रोते हुए कह रही है, ‘‘हम बहुत लाचार हैं। बहुत गरीब हैं। न्याय की भीख मांग रहे हैं सरकार से। छह महीने हो गये।
शिकायत पत्र दिखाते हुए कहती है कि इन शिकायतों को मैं विभिन्न अधिकारियों को दे चुकी हूं। मेरे पास सारे सबूत हैं। पुलिस वालों ने गुड्डू (आरोपी) के साथ मिलकर हमारे केस को बिगाड़ा। गलत चार्जशीट हत्यारों के पक्ष में बनाई और गलत एफआईआर दर्ज की।
इसमें वह आगे कह रही है, ‘‘मेरी मां और मैं पिछले छह महीने से सीएम से मिलने के लिए भटक रहे हैं। उनके घर के सामने खड़े होते हैं, तो पुलिस वाले धक्के देकर भगा देते हैं। उनके घर के आसपास सुबह 10 बजे से शाम के छह बजे तक खड़े रहते हैं हम।’’
इस युवती ने आगे कहा, ‘‘सिर्फ मेरे पापा को न्याय दिलाने की आस को लेकर हम जिंदा थे। प्रशासन सुनने को तैयार नहीं है। वीडियो में ब्लेड से अपने हाथ की नस काटते हुए वह चीख के साथ कहती है अंधा और बहरा हो गया है प्रशासन। मैं आत्महत्या कर रही हूं, जिसका जिम्मेदार ये अंधा प्रशासन है। प्रशासन ही मेरी मौत का जिम्मेदार है।’’
इस बारे में पूछे जाने पर गोविंदपुरा थाना प्रभारी अशोक सिंह परिहार ने ‘भाषा’ को बताया कि सूचना मिलने पर इस लड़की को उपचार के लिये तुरंत शहर के नर्मदा अस्पताल ले जाया गया, जहां उसके हाथ में पट्टी लगवाई गई। उसकी कलाई बहुत ज्यादा कटी हुई नहीं है। वह अब सामान्य है। थाने में उसके बयान लिखवाये जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि युवती की आखिरी रिपोर्ट के बाद भोपाल की गोविंदपुरा थाने की पुलिस ने 12 व्यक्तियों के खिलाफ मामला दर्ज कर सभी को गिरफ्तार कर लिया है और उन सभी के खिलाफ अदालत में चालान भी पेश कर लिया है। अभी यह मामला अदालत में विचाराधीन है।
इस साल अप्रैल में एक ट्वीट कर इस युवती ने आरोप लगाया था कि उसके पिता को आठ लोगों ने बुरी तरह पीटा है और तीन दिन बाद उसकी मौत हो गई। इस ट्वीट के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उन्हें न्याय दिलाने का आश्वासन दिया था।