कोरोना वायरस दुनिया भर में मानवता पर संकट बन कर मंडरा रहा है। जान बचाने के लिए विश्व भर में लॉकडाउन ही अंतिम उपाय है। नागरिकों को खाद्य सामग्री अबाध उपलब्ध हो सके, सरकारें इसमें लगी हैं। लेकिन इस संकट की घड़ी में भी कालाबाजारी करने वाले बाज नहीं आ रहे हैं। दिल्ली सरकार राजधानी की जनता को खाद्य सामग्री आपूर्ति करने में लगी है। लेकिन इस संकट की घड़ी में भी ऐसे मामले सुनने में आ रहे हैं जो मानवता को शर्मसार करने वाला है।
दिल्ली के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के मंत्री इमरान हुसैन के निर्देश पर लीगल मेट्रोलॉजी विभाग ने पैक्ड समान पर प्रदर्शित कीमतों में हेरफेर करने और ओवर चार्जिंग पर दुकानदार और तीन निर्माता कंपनियों पर 1 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। मंत्री इमरान हुसैन ने आवश्यक वस्तुओं के एमआरपी से अधिक कीमत पर बिक्री को रोकने के लिए लीगल मेट्रोलॉजी विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की और उन्हें निर्देशित किया कि कोरोना वायरस के प्रकोप और लॉक डाउन की वजह से थोक या फुटकर बिक्रेता ओवर चार्जिंग कर उपभोक्ताओं से अनुचित लाभ न उठा सकें।
खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के मंत्री इमरान हुसैन ने कोविड-19 कोरोना वायरस से उत्पन्न उत्पन्न स्थिति में कुछ डीलरों, खुदरा विक्रेताओं, निर्माताओं आदि द्वारा आवश्यक वस्तुओं और दैनिक जरूरतों की वस्तुओं की बिक्री में ओवर चार्जिंग की शिकायतों पर विभाग द्वारा की जा रही आवश्यक कार्यवाही और कामकाज की समीक्षा के लिए मेट्रोलॉजी विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की।
खाद्य मंत्री के निर्देश पर विभिन्न आवश्यक वस्तुओं की बिक्री के संबंध में खुदरा विक्रेताओं, दुकानदारों, केमिस्टों, निर्माताओं, व्यापारियों आदि द्वारा पैकेज्ड कमोडिटी रूल्स (पीसीआर) के उल्लंघन के मामलों की जाँच के लिए टीमों को तैनात किया गया है। तैनात टीम द्वारा जांच के दौरान रूप नगर इलाके में दिल्ली मिल्क स्कीम स्टॉल चलाने वाले एक खुदरा विक्रेता द्वारा पैकेज्ड कमोडिटी रूल्स (पीसीआर) के उल्लंघन का मामला सामने आया, जहां टीम ने पाया कि एक पैक्ड आइटम पर एमआरपी के साथ छेड़छाड़ की गई थी और इसे अवैध रूप से वृद्धि दर पर बेचा जा रहा था। वही, अन्य सामान पर कानून के तहत निर्धारित अनिवार्य घोषणा नहीं थी। छापेमारी के दौरान हेरफेर करने वाले खुदरा दुकानदारों के साथ तीन उत्पादन करने वाली कंपनियों पर कुल 1 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है।
पैकेज्ड कमोडिटी रूल्स के अंतर्गत पैक्ड सामानों पर निर्माता, पैकर, आयातक का नाम और पता, उत्पाद का सामान्य नाम, शुद्ध मात्रा, निर्माण और प्री-पैकिंग का महीना और वर्ष, एमआरपी (सभी करों को मिलाकर) और उस व्यक्ति का नाम, पता, टेलीफोन नंबर जिसे उपभोक्ता शिकायत के मामले में संपर्क कर सकता है, जैसी अनिवार्य घोषणाओं की छपाई की आवश्यक होती है। इस पैकेज्ड कमोडिटी रूल्स (पीसीआर) के अनुपालन में विफलता पर रिटेलर, निर्माता, व्यापारी आदि के खिलाफ लीगल मेट्रोलॉजी अधिनियम, 2009 और पैकेज्ड कमोडिटीज रूल्स, 2011 के तहत कानूनी कार्रवाई की जा सकती है।
खाद्य मंत्री ने विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को प्रतिदिन फील्ड स्टाफ के कामकाज की समीक्षा करने का निर्देश दिया। उन्होंने अधिकारियो को यह भी निर्देश दिया कि वे इस बात का ध्यान रखें कि किसी भी कीमत पर कोरोना वायरस की वजह से केमिस्ट, खुदरा विक्रेताओं, व्यापारियों आदि इस स्वास्थ्य संकट का अनुचित लाभ नहीं उठा पाएं। यदि कोई भी केमिस्ट, खुदरा विक्रेता, व्यापारियों आदि इसका उलंघन करता पाया जाता है तो उसके विरूद्ध सख़्त कानूनी कार्यवाही की जाये।
इमरान हुसैन ने खुदरा विक्रेताओं, व्यापारियों, निर्माताओं आदि से अपील की कि वे कोरोना वायरस के कारण उत्पन्न हुए इस स्वास्थ्य संकट मे सरकार का सहयोग करें तथा पैकेज्ड कमोडिटी रूल्स के प्रावधानों का अनुपालन करें। खाद्य मंत्री ने दिल्ली के नागरिकों से भी अपील की कि वे पैक्ड सामानो और अन्य आवश्यक वस्तुओं पर किसी भी तरह की की ओवर चार्जिंग की सूचना लीगल मेट्रोलॉजी विभाग को अवश्य दें।