जौनपुर। ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के नेता असदुद्दीन ओवैसी ने बृहस्पतिवार को कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश दोनों को तय करना चाहिए कि‘‘ मैं किसका एजेंट हूं । ’’
ओवैसी ने सूम्बुलपुर गुरैनी में शोषित वंचित समाज सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा, “योगी आदित्यनाथ कहते हैं कि मैं सपा का एजेंट हूं और अखिलेश यादव कहते हैं कि मैं भाजपा का एजेंट हूं। दोनों को तय करने दें कि मैं किसका एजेंट हूं?”
वहीं ओवैसी ने दावा किया कि उनकी पार्टी को छोड़कर कोई अन्य सियासी पार्टी मुसलमानों की शुभचिंतक नहीं है और मांग की कि कृषि कानूनों की तरह नागरिका संशोधित कानून (सीएए) को भी वापस लिया जाना चाहिए।
ओवैसी ने कहा कि, “मैं सीएए के खिलाफ हूं और जब तक इसे वापस नहीं लिया जाता मैं इसका विरोध करता रहूंगा।”उनका कहना था कि कृषि कानूनों की तरह इसे भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को वापस लेना चाहिए।
ओवैसी ने कहा,‘‘ सियासी पार्टियों ने मुसलमानों को सिर्फ वोट लेने के लिए इस्तेमाल किया। उन्होंने कभी मुसलमानों का भला नहीं किया। उत्तर प्रदेश में एक बड़ी ताकत होने के बावजूद मुसलमानों को यहां कभी न्याय नहीं मिला।’’ उन्होंने लोगों से किसी से नहीं डरने की अपील करते हुए आगामी विधानसभा चुनावों में उनकी पार्टी के उम्मीदवारों को वोट देने की अपील की।
उत्तर प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी सरकार पर हमला बोलते हुये ओवैसी ने कहा ,‘‘उत्तर प्रदेश में कोई विकास नहीं हुआ, यहां बहन बेटियां सुरक्षित नहीं हैं। वाराणसी से यहां तक कार से आते समय सड़क में गड्ढे ही गड्ढे मिले। बेरोजगारी इस कदर बढ़ गई है कि पढ़े लिखे नौजवानों की जिंदगी बरबाद हो रही है। मंहगाई चरम पर है, फिर भी योगी जी विकास की बात करते हैं।’’
इसी के साथ ही ओवैसी ने कहा, “वाराणसी (जौनपुर) के रास्ते में मुझे सड़कों पर कई गड्ढे़ मिले। वे केवल दाढ़ी और टोपी वाले पुरुषों को फर्जी मामलों में फंसाने और उनकी हत्या करने के लिये ही देखते हैं।’’