बांग्लादेश: शेख हसीना पर 3500 लोगों को गायब करने का लगा इल्जाम


जांच रिपोर्ट को अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार, प्रोफेसर मुहम्मद यूनुस को आयोग के अध्यक्ष, रियाटर जस्टिस मैनुल इस्लाम चौधरी ने ढाका के स्टेट गेस्ट हाउस जमुना में आयोजित एक समारोह में सौंपा।


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ढाका। भारत में रह रहीं बांग्लादेश की निर्वासित प्रधानमंत्री शेख हसीना पर एक नई मुसीबत आ गई है। ऐसा इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस की अगुवाई वाली अंतरिम सरकार ने देश से 3500 लोगों के गायब होने में शेख हसीना का हाथ बताया है। जांच में भी यह बात साबित हो चुकी है।

एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में, जबरन गायब होने की घटनाओं पर जांच आयोग ने अपनी अंतरिम रिपोर्ट पेश की है, जिसमें पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना और कई वरिष्ठ अधिकारियों को इन घटनाओं में शामिल बताया गया है। “सच का खुलासा” नामक इस रिपोर्ट में रैपिड एक्शन बटालियन (RAB) को भंग करने की सिफारिश भी की गई है क्योंकि इन मामलों में इसकी भूमिका विवादास्पद रही है।

जांच रिपोर्ट को अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार, प्रोफेसर मुहम्मद यूनुस को आयोग के अध्यक्ष, रियाटर जस्टिस मैनुल इस्लाम चौधरी ने ढाका के स्टेट गेस्ट हाउस जमुना में आयोजित एक समारोह में सौंपा। आयोग ने बताया कि उसे 1,676 जबरन गायब होने की शिकायतें मिली हैं, जिनमें से अब तक 758 मामलों की जांच की जा चुकी है।

आयोग का अनुमान है कि कुल गायब होने वाले मामलों की संख्या 3,500 से अधिक हो सकती है। यह सुरक्षा बलों के ऑपरेशन में एक “प्लान” की ओर इशारा करता है, जिससे ये घटनाएं छिपी रहें। जस्टिस चौधरी ने कहा कि ऑपरेशनों को जानबूझकर टुकड़ों में बांटा गया था, ताकि कर्मियों को पीड़ितों की पहचान के बारे में जानकारी न हो और वे इनकार कर सकें।

आयोग की सबसे महत्वपूर्ण सिफारिश है कि रैपिड एक्शन बटालियन (RAB) को भंग कर दिया जाए। यह एक पैरामिलिट्री फोर्स है, जिस पर लंबे समय से मानवाधिकार उल्लंघन, जैसे कि फर्जी मुठभेड़ और जबरन गायब करने के आरोप लगते रहे हैं।

मुख्य सलाहकार प्रोफेसर यूनुस ने आयोग के प्रयासों की सराहना की और उसकी जांच में पूर्ण समर्थन देने का वादा किया। उन्होंने कहा, “आप एक बेहद महत्वपूर्ण काम कर रहे हैं। सरकार आपको जो भी सहायता चाहिए, देने के लिए तैयार है।” एक अभूतपूर्व कदम उठाते हुए, मुख्य सलाहकार ने आयोग द्वारा पहचाने गए कुछ ‘आयनघर’ या गुप्त हिरासत केंद्रों का दौरा करने की योजना की घोषणा की, ताकि पीड़ितों की परेशानी को सामने से समझा जा सके।