श्री श्री रविशंकर को अमेरिका के विश्वविद्यालय ने ‘वैश्विक नागरिकता दूत’ के तौर पर दी मान्यता


श्री श्री रविशंकर को अमेरिका के एक प्रख्यात विश्वविद्यालय ने ‘वैश्विक नागरिकता दूत’ के तौर पर मान्यता दी है। विश्वविद्यालय ने रविशंकर को उनके शांति कार्यों, मानवीय कार्यों, आध्यात्मिक गुरु और वैश्विक अंतरधार्मिक नेता के तौर पर काम करने के लिए यह सम्मान दिया है।


बबली कुमारी बबली कुमारी
विदेश Updated On :

वाशिंगटन। भारतीय आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर को अमेरिका के एक प्रख्यात विश्वविद्यालय ने ‘वैश्विक नागरिकता दूत’ के तौर पर मान्यता दी है। विश्वविद्यालय ने रविशंकर को उनके शांति कार्यों, मानवीय कार्यों, आध्यात्मिक गुरु और वैश्विक अंतरधार्मिक नेता के तौर पर काम करने के लिए यह सम्मान दिया है।

सोमवार को जारी एक वक्तव्य के अनुसार, ‘नार्थईस्टर्न यूनिवर्सिटी सेंटर फॉर स्पिरिचुअल्टी, डायलॉग एन्ड सर्विस’ ने रविशंकर को पिछले सप्ताह वैश्विक नागरिकता दूत के तौर पर मान्यता दी।

विश्वविद्यालय में कार्यकारी निदेशक और आध्यात्मिक सलाहकार (चैपलेन) अलेक्जेंडर लेवेरिंग कर्न ने कहा, “हम श्री श्री के आभारी हैं। वैश्विक नागरिकता दूत कार्यक्रम शुरू करने के लिए इससे बेहतर कुछ नहीं हो सकता था। हम एक प्रसन्नचित्त मानवीय कार्यकर्ता से वार्ता करेंगे और उनसे सीखेंगे। उन्होंने हमारे सर्वोत्तम साझा मानवीय मूल्यों को जीवन में उतारा है।”

वैश्विक शांति को बढ़ावा देने का प्रयास-

विश्व में शांति बनाए रखने के मकसद से रवि शंकर ने पाकिस्तान और इराक देश का दौरा किया था। अपने इस दौरे के दौरान रवि शंकर ने वैश्विक शांति को बढ़ावा देने के लिए इन देशों के राजनीतिक और धार्मिक नेताओं से मुलाकात की थी।

आपको बता दें की श्री श्री रवि शंकर  विश्व भर में अपने कार्यों के लिए जाने जाते हैं। रवि शंकर  का लक्ष्य दुनिया में शांति कायम करना है और लोगों को तनाव राहित जिंदगी प्रदान करना है। अपने इन्हीं लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए इनके द्वारा ‘आर्ट ऑफ लिविंग फाउंडेशन’ की नीव रखी गई थी और आज ये फाउंडेशन दुनिया भर में प्रसिद्ध है। दुनिया भर में रवि शंकर के लाखों की संख्या में फॉलोअर भी मौजूद हैं।

 



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