नई दिल्ली। केंद्र सरकार के तीनों कृषि कानूनों के विरोध में किसान संगठनों ने आज भारत बंद बुलाया है, जो सुबह 6 बजे से शाम 4 बजे तक चलाया जाएगा। जिसके मद्देनजर किसान संगठन दिल्ली की सीमाओं पर पहले से ही हजारों की संख्या में धरना दिए बैठे हैं। ऐसे हालातों के बीच दिल्ली के आसपास क्षेत्रों में भयंकर जाम की स्थिति पैदा हो गई है।
दिल्ली-एनसीआर बॉर्डर पर सुबह से सड़कों पर लंबी कतारों में खड़ी हजारों गाड़ियां दिखाई दे रही हैं। वहीं गुरुग्राम बॉर्डर पर भी भयावह जाम लगा हुआ है। कृषि कानून के विरोध में प्रदर्शन के चलते कई जगह सड़कें बंद हैं, जिस वजह से जरूरी काम और ऑफिस जाने के लिए निकले लोगों को सुबह से ही परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
ऐसे हालातों के चलते या तो कई जगह रूट को डायवर्ट किया गया है या फिर विकल्प न होने की वजह से रास्ता ही बंद है। किसान प्रदर्शन के कारण मेट्रो पर भी इसका असर देखने को मिला है। जहां पंडित श्री राम शर्मा मेट्रो स्टेशन की एंट्री-एग्जिट बंद कर दी गई है।
Security Update
Entry/exit for Pandit Shree Ram Sharma has been closed.
— Delhi Metro Rail Corporation I कृपया मास्क पहनें😷 (@OfficialDMRC) September 27, 2021
वहीं कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने केन्द्र के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसानों के “भारत बंद” का सोमवार को समर्थन किया और कहा कि किसानों का अहिंसक सत्याग्रह अखंड है।
गांधी ने ट्वीट किया, “किसानों का अहिंसक सत्याग्रह आज भी अखंड है,लेकिन शोषण करने वाली सरकार को ये नहीं पसंद है, इसलिए आज भारत बंद है।” गौरतलब है कि कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा ने पांच सितंबर को मुजफ्फरनगर की किसान महापंचायत में 27 सितंबर को ‘भारत बंद’ का एलान किया था।
किसानों का अहिंसक सत्याग्रह आज भी अखंड है
लेकिन शोषण-कार सरकार को ये नहीं पसंद है
इसलिए #आज_भारत_बंद_है #IStandWithFarmers— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) September 27, 2021
बता दें कि किसान नेता राकेश टिकैत ने भारत बंद आवाह्न के चलते लोगों से अपील की है कि शाम 4 बजे तक घरों से बाहर ना निकलें, ताकि सड़कों पर जाम की वजह से दिग्गतों का सामना न करना पड़े। हालांकि राकेश टिकैत ने लोगों की जरूरतों को समझते हुए यह भी कहा है कि किसी भी एम्बुलेंस या अन्य किसी जरूरी वाहन को निकलने से नहीं रोका जाएगा।
गौरतलब है कि देश के विभिन्न हिस्सों, विशेष रूप से पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसान, पिछले साल नवंबर से दिल्ली की सीमाओं पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारी केन्द्र के तीन कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग कर रहे हैं। किसानों को भय है कि इससे न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) प्रणाली खत्म हो जाएगी। हालांकि सरकार इन कानूनों को प्रमुख कृषि सुधारों के रूप में पेश कर रही है। दोनों पक्षों के बीच 10 दौर से अधिक की बातचीत हो चुकी है, लेकिन सभी बेनतीजा रहीं।