ICMR ने हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन के इस्तेमाल पर संशोधित परामर्श किया जारी

आईसीएमआर द्वारा जारी संशोधित परामर्श में आगाह किया गया है कि यह दवा उन लोगों को नहीं देनी चाहिए, जो नजर कमजोर करने वाली रेटिना संबंधी बीमारी से ग्रस्त है, एचसीक्यू को लेकर अति संवेदनशीलता है तथा जिन्हें दिल की धड़कनों के घटने-बढ़ने की बीमारी है। इस दवा को 15 साल से कम आयु के बच्चों तथा गर्भवती एवं दूध पिलाने वाली महिलाओं को न देने की सिफारिश की जाती है।

नई दिल्ली। सरकार ने शुक्रवार को एक संशोधित परामर्श जारी कर गैर कोविड-19 अस्पतालों में काम कर रहे बिना लक्षण वाले स्वास्थ्यसेवा कर्मियों, निरुद्ध क्षेत्रों (कंटेनमेंट जोन) में निगरानी ड्यूटी पर तैनात कर्मियों और कोरोना वायरस संक्रमण को रोकने संबंधी गतिविधियों में शामिल अर्द्धसैन्य बलों/पुलिसकर्मियों को रोग निरोधक दवा के तौर पर हाइडॉक्सीक्लोरोक्वीन (एचसीक्यू) का इस्तेमाल करने की सिफारिश की है।

इससे पहले जारी परामर्श में किए उल्लेख के अनुसार, कोविड-19 को फैलने से रोकने एवं इसका इलाज करने में शामिल बिना लक्षण वाले सभी स्वास्थ्यसेवा कर्मियों और संक्रमित लोगों के घरों में संपर्क में आए लोगों में संक्रमण के खिलाफ इस दवा का इस्तेमाल करने की भी सिफारिश की गई है।

आईसीएमआर द्वारा जारी संशोधित परामर्श में आगाह किया गया है कि दवा लेने वाले व्यक्ति को यह नहीं सोचना चाहिए कि वह एकदम सुरक्षित हो गया है। संशोधित परामर्श के अनुसार एनआईवी पुणे में एचसीक्यू की जांच में यह पाया गया कि इससे संक्रमण की दर कम होती है।
परामर्श में कहा गया है कि यह दवा उन लोगों को नहीं देनी चाहिए, जो नजर कमजोर करने वाली रेटिना संबंधी बीमारी से ग्रस्त है, एचसीक्यू को लेकर अति संवेदनशीलता है तथा जिन्हें दिल की धड़कनों के घटने-बढ़ने की बीमारी है। परामर्श में कहा गया है कि इस दवा को 15 साल से कम आयु के बच्चों तथा गर्भवती एवं दूध पिलाने वाली महिलाओं को न देने की सिफारिश की जाती है।

आईसीएमआर ने संशोधित परामर्श में  कहा है कि यह दवा औपचारिक सहमति के साथ किसी डॉक्टर की निगरानी में दी जाए।

आईसीएमआर द्वारा जारी संशोधित परामर्श में आगाह किया गया है कि यह दवा उन लोगों को नहीं देनी चाहिए, जो नजर कमजोर करने वाली रेटिना संबंधी बीमारी से ग्रस्त है, एचसीक्यू को लेकर अति संवेदनशीलता है तथा जिन्हें दिल की धड़कनों के घटने-बढ़ने की बीमारी है। इस दवा को 15 साल से कम आयु के बच्चों तथा गर्भवती एवं दूध पिलाने वाली महिलाओं को न देने की सिफारिश की जाती है।

First Published on: May 23, 2020 5:50 PM
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