मोदी ने ममता को बताया ‘पश्चिम बंगाल के विकास का अवरोधक’


प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और उनकी पार्टी तृणमूल कांग्रेस की ‘‘अवरोधकारी मानसिकता’’ के कारण राज्य उद्योगों और नौकरियों से वंचित रहा।


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हरिपाल/सोनारपुर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और उनकी पार्टी तृणमूल कांग्रेस की ‘‘अवरोधकारी मानसिकता’’ के कारण पश्चिम बंगाल उद्योगों और नौकरियों से वंचित रहा।

मोदी ने भाजपा नेताओं को ‘‘बाहरी लोगों’’ (बोहिरगेटो) के रूप में प्रचारित करने के लिए बनर्जी की निंदा की और कहा कि यह नेताजी सुभाषचंद्र बोस की समावेशी विचारधारा और भारतीय संविधान के सिद्धांतों का अपमान है।

मोदी ने हरिपाल में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए 2006-08 सिंगूर आंदोलन का जिक्र किया और कहा कि तृणमूल कांग्रेस ने राजनीतिक उद्देश्य के लिए इस स्थान का इस्तेमाल किया और इसके बाद लोगों को अधर में छोड़ दिया। सिंगूर आंदोलन के कारण टाटा मोटर्स को अपनी प्रस्तावित छोटी कार नैनो की उत्पादन इकाई को वहां से स्थानांतरित करने के लिए मजबूर होना पड़ा था।

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘दीदी और उनकी पार्टी की बाधाकारी मानसिकता ने कई औद्योगिक, बुनियादी ढांचे और कनेक्टिविटी परियोजनाओं को अवरुद्ध कर दिया। मैंने कभी ऐसी पार्टी नहीं देखी जो उद्योगों और विकास को रोकने में गर्व महसूस करती है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘हम सभी जानते हैं कि पड़ोसी सिंगूर में क्या हुआ था। उन्होंने अपनी राजनीति को आगे बढ़ाने के लिए इसका इस्तेमाल किया और फिर लोगों को अधर में छोड़ दिया। आज, कोई उद्योग नहीं है और किसान संकट में हैं।’’

चुनाव आयोग के खिलाफ बनर्जी के आरोपों पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘‘अगर खिलाड़ी अंपायर की आलोचना करे तो आप जान लें कि खेल खत्म हो चुका है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘दीदी हार का अंदाजा होने के बाद बेचैन हैं। इसलिए वह चुनाव आयोग से लेकर ईवीएम तक हर किसी की आलोचना कर रही हैं। वह मुझे गाली दे रही हैं, लेकिन मुझे गाली देते हुए उन्होंने यह कहकर बंगाल के लोगों के आत्म-सम्मान को ठेस पहुंचाई कि वे हमारी रैलियों में शामिल होने के लिए पैसे ले रहे हैं।’’

सोनारपुर में एक रैली को संबोधित करते हुए मोदी ने भाजपा नेताओं को ‘‘बाहरी लोगों’’ (बोहिरगेटो) के रूप में प्रचारित करने के लिए बनर्जी की निंदा करते हुए कहा कि यह नेताजी सुभाषचंद्र बोस की समावेशी विचारधारा और भारतीय संविधान के सिद्धांतों का अपमान है।

मोदी ने कहा कि दो मई को भाजपा के सत्ता में आने के बाद बंगाल का ‘‘भूमिपुत्र’’ मुख्यमंत्री के रूप में कार्यभार संभालेंगा। उन्होंने कहा कि राज्य में कोई भी भारतीय ‘‘बाहरी’’ नहीं है।

उन्होंने कहा, ‘‘जब अंग्रेजों ने हमें बांटने की कोशिश की तो नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने कहा था- भारत एक है और हर भारतीय की आशाएं और आकांक्षाएं एक समान हैं। आज यह देखना बहुत कष्टदायक है कि तृणमूल कांग्रेस और ममता दीदी नेताजी की विचाराधारा का प्रचार करने के बजाय बोहिरगेटो के बारे में बात कर रहे हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘दीदी बाहरी लोगों की बात कर रही है। हम सभी भारत माता की संतान हैं। कोई भी भारतीय यहां बाहरी नहीं है। जब दो मई के बाद भाजपा की सरकार बनेगी तो बंगाल का भूमिपुत्र मुख्यमंत्री बनेगा।’’

प्रधानमंत्री ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) को एक ‘‘टका मार कंपनी’’ (एक उद्यम जो पैसे लूटता है) बताया और बनर्जी को अपने ‘‘गुंडों’’ को काबू में करने को कहा।उन्होंने कहा, ‘‘आप अपने तृणमूल कांग्रेस के गुंडों को नियंत्रित करें। उन्हें समझाएं – मोदी यहां हैं! उनकी बदमाशी अब सहन नहीं की जाएगी। बंगाल हिंसा और आतंक नहीं चाहता।

बंगाल अपनी बेटियों के लिए शिक्षा और अपनी माताओं के लिए सुरक्षा, सम्मान और न्याय चाहता है।’’ मोदी ने कहा कि बनर्जी ने यह दावा कर लोगों के आत्मसम्मान को ठेस पहुंचायी कि लोग पैसे लेकर भाजपा की रैलियों में आ रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘क्या बंगाल के लोग रैलियों में शामिल होने के लिए पैसे लेते हैं, दीदी? आप मुझे गाली देते हुए किसका अपमान कर रही हैं? आप राज्य के लोगों का अपमान कर रही हैं?’’

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘हमें नंदीग्राम के लिए मतदान के दौरान बंगाल चुनाव के नतीजों का अंदाजा हो गया है, दीदी आपने लोगों से छल किया, आप अपनी हार स्वीकार लें।’’ मोदी ने दावा किया कि बनर्जी ने अपने अहं को संतुष्ट करने के लिए विभिन्न केंद्रीय परियोजनाओं के कार्यान्वयन को रोक दिया। प्रधानमंत्री ने पश्चिम बंगाल में अपनी पार्टी की जीत का विश्वास जताते हुए कहा कि वह भाजपा सरकार के शपथ ग्रहण समारोह में हिस्सा लेंगे।

मोदी ने तृणमूल कांग्रेस के कुछ नेताओं के उस दावे का जिक्र किया जिसमें कहा गया है कि बनर्जी 2024 में वाराणसी लोकसभा सीट से चुनाव लड़ सकती है। उन्होंने इस दावे को लेकर तृणमूल कांग्रेस प्रमुख पर कटाक्ष करते हुए कहा, ‘‘इससे साबित होता है कि दीदी ने अपनी हार स्वीकार कर ली है।’’

उन्होंने व्यंग्यात्मक रूप से कहा, ‘‘दीदी अब बंगाल के बाहर अपने लिए एक जगह तलाश रही हैं। वाराणसी और उत्तर प्रदेश के लोग बंगाल के लोगों की तरह बड़े दिल वाले हैं। वे उन्हें बाहरी नहीं कहेंगे।’’