मौसम विभाग ने कश्मीर घाटी में असामान्य मौसम पैटर्न के चलते चेतावनी जारी की है। पूरी कश्मीर घाटी में असामान्य मौसम के चलते दिन का तापमान सामान्य से अधिक और रात का तापमान सामान्य से कम रिकॉर्ड हो रहा है।
मंगलवार को मौसम विभाग के आंकड़ों से पता चला है कि इस सर्दी में पूरी कश्मीर घाटी असामान्य मौसम पैटर्न से गुजर रही है। मौसम विभाग ने कहा है कि पिछले 24 घंटों के दौरान श्रीनगर में अधिकतम और न्यूनतम तापमान में लगभग 10 डिग्री का अंतर देखा गया, जिसने चिंता बढ़ा दी है।
श्रीनगर में कितना तापमान?
श्रीनगर शहर में सोमवार (27 जनवरी) की रात को न्यूनतम तापमान शून्य से 4.3 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया, जो अपेक्षित न्यूनतम तापमान से 3.4 डिग्री कम था, लेकिन अधिकतम तापमान 14.2 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड हुआ, जो इस समय के लिए अपेक्षित दिन के तापमान से 6.4 डिग्री अधिक है।
पहलगाम में न्यूनतम तापमान कितना?
दक्षिण कश्मीर में वार्षिक अमरनाथ यात्रा के लिए आधार शिविरों में से एक पहलगाम में न्यूनतम तापमान शून्य से 6.6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया, जो सामान्य से 1.1 डिग्री कम है। दक्षिण कश्मीर आधार शिविर में अधिकतम तापमान 11.6 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से छह डिग्री अधिक है।
स्कीइंग के लिए मशहूर उत्तरी कश्मीर के पर्यटक स्थल गुलमर्ग में न्यूनतम तापमान माइनस 5.0 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि अपेक्षित तापमान माइनस 7.6 डिग्री सेल्सियस था। काजीगुंड में न्यूनतम तापमान माइनस 4.1 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से 1.6 डिग्री कम था। अधिकतम तापमान 15 डिग्री सेल्सियस रहा, जो औसत से करीब आठ डिग्री अधिक था।
मौसम शुष्क रहने की उम्मीद
मौसम विभाग के अनुसार, अगले 24 घंटों में मौसम शुष्क रहने की उम्मीद है, जिसके चलते जंगलों में आग लगने की घटनाएं भी बढ़ सकती है। मौसम विभाग ने पहले ही कश्मीर घाटी में जनवरी के महीने में 81 प्रतिशत कम बारिश होने के चलते अलर्ट जारी किया है। आने वाले फरवरी के महीने में बर्फ़बारी और बारिश के कम या नहीं होने पर पानी की आपूर्ति पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ने की भी चेतवानी जारी की है।
‘चिल्लई-कलां’ की चपेट में कश्मीर
कश्मीर इस समय ‘चिल्लई-कलां’ की चपेट में है, जो सर्दियों का सबसे कठोर दौर है। 21 दिसंबर से शुरू हुए 40 दिनों के ‘चिल्लई-कलां’ के दौरान बर्फबारी की संभावना सबसे अधिक होती है और पारा काफी गिर जाता है। ‘चिल्लई-कलां’ 30 जनवरी को समाप्त होगा, जिसके बाद 20 दिनों का ‘चिल्लई-खुर्द’ (छोटी ठंड) और 10 दिनों का ‘चिल्लई-बच्चा’ (छोटी ठंड) होगा।