लखनऊ। यूपी में कोरोना संकट को लेकर विपक्ष के हमलों से बेपरवाह योगी सरकार को अब खुद भारतीय जनता पार्टी के सांसद, विधायक और मेयर चेतावनी दे रहे हैं। उत्तर प्रदेश में आगरा, मेरठ, कानपुर कोरोना के हब बन कर उभरे हैं। आगरा के मेयर नवीन जैन ने जहां कुछ दिन पहले ही मुख्यमंत्री को पत्र लिख अपने शहर को बचाने की अपील की थी वहीं मेरठ से पहले भाजपा विधायक सोमेंद्र तोमर और अब सांसद कांता कर्दम ने खत लिख कर बदहाली के किस्से बयान किए हैं।
मेरठ से भाजपा की राज्यसभा सांसद व प्रदेश संगठन की उपाध्यक्ष कांता कर्दम ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर मेरठ की खराब हालात की ओर ध्यान दिलाया है। सांसद का कहना है कि मेरठ में कोरोना मरीजों की तादाद 209 और मृतकों की 11 पहुंच गयी है जबकि शहर में स्वास्थ्य सेवाओं का बुरा हाल है।
उनका कहना है कि लाकडाउन का पालन सख्ती से नहीं हो रहा है और दिल्ली रोड, कोटला बाजार व नवीन मंडी में स्थिति विस्फोटक हो गयी है। सभी सब्जी विक्रेताओं के लिए कोरोना टेस्ट जरुरी बताते हुए सांसद कहती हैं शहर का इकलौता मेडिकल कालेज ईलाज के मामले में लचर है।
रेड जोन मेरठ में शराब की दुकानों बंद करने का अनुरोध करते हुए कांता कर्दम ने कहा कि अब तो शहरी क्षेत्र के लोग नशा करने के लिए ग्रामीण इलाकों की ओर भाग रहे हैं। कुछ दिन पहले मेरठ के भाजपा विधायक सोमेंद्र तोमर ने इसी तरह का पत्र लिख कर सरकार से अपने जिले को बचाने की मांग की थी। इससे पहले कभी देश भर में अपनी सफलता के तौर पर पेश किए गए आगरा माडल की हालात कुछ ही दिन पहले वहां के मेयर नवीन जैन ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर बतायी थी।
आज उत्तर प्रदेश के इस शहर में पूरे प्रदेश के लगभग एक तिहाई कोरोना मरीज हैं। रविवार तक की सूचना के मुताबिक आगरा में 725 कोरोना पेशेंट है और अब तक 25 की मौत हो गयी है। आगरा में ही दैनिक जागरण के पत्रकार पंकज कुलश्रेष्ठ की मौत गुरुवार को कोरोना से हो गयी थी। इसी समाचार पत्र के आगरा दफ्तर में काम करने वाले 12 और लोग कोरोना के शिकार हो चुके हैं। प्रदेश सरकार ने अपने दो वरिष्ठ अधिकारियों को आगरा में स्थिति पर काबू पाने के लिए तैनात किया है।
रविवार देर रात में आगरा के मुख्य चिकित्सा अधिकारी और सहायक निदेशक परिवार कल्याण को हटा दिया गया है। इसी कोरोना काल में भाजपा अपने तीन विधायकों को अनुशासनहीनता के लिए नोटिस जारी कर चुकी है।प्रदेश में क्वारंटाइन सेंटरों से लेकर कम्यूनिटी किचन के बुरे हाल पर खुद सत्ताधारी दल के लोग सवाल खड़े कर रहे हैं। सोमवार को झांसी में खुद भाजपा के पदाधिकारियों में मेन्यू से इतर खाना पकते देखा। यहां सोमवार को तय मेन्यू दाल चावल रोटी की जगह 32 रुपये की दर से चार-छह पूड़ी व सब्जी तैयार की जा रही है। राजधानी लखनऊ तक में ज्यादातर लोगों को महज एक टाइम ही खाना दिया जा रहा है।