नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने हरियाणवी गायिका सपना चौधरी और अन्य के खिलाफ धन की हेराफेरी, धोखाधड़ी और आपराधिक षड्यंत्र का मामला दर्ज किया है।
अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को बताया कि जानी-मानी हस्तियों का कारोबार प्रबंधन एवं उनके कार्यक्रम आयोजित करने वाली पी एंड एम मूवीज प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक पवन चावला की शिकायत पर बुधवार को प्राथमिकी दर्ज की गई।
प्राथमिकी के अनुसार, चौधरी ने एक लोकप्रिय रिएलिटी कार्यक्रम से बाहर निकलने के बाद एक मित्र के जरिए मार्च 2018 में चावला से संपर्क किया था और वित्तीय स्थिरता हासिल करने के लिए कंपनी के साथ मिलकर काम करने में गहरी रुचि दिखाई थी।
कई वार्ताओं के बाद चावला और चौधरी के बीच 2018 में एक करार हुआ था, जिसके नियम एवं शर्तों के अनुसार, गायिका को किसी अन्य कंपनी के साथ काम करने या शिकायतकर्ता के किसी अन्य ग्राहक से संपर्क करने की अनुमति नहीं थी।
प्राथमिकी के अनुसार, चौधरी और उनकी मां ने मई 2018 में किसी आपात स्थिति का हवाला देते हुए 50 लाख रुपए के लिए चावला से संपर्क किया था, जिसके बाद उन्हें 25-25 लाख रुपए के दो चेक दिए गए थे।
इसमें कहा गया है कि अगस्त में चौधरी ने चावला को 10 लाख का चेक लौटाया और सितंबर में उसे तीन लाख रुपए लौटाए। इसके बाद उन्होंने चावला से नवंबर में डेढ़ लाख रुपए लिए और इस तरह उन्होंने चावला से 38.5 लाख रुपए लिए।
इस वजह से दर्ज हुआ है मामला
कुछ शिकायतकर्ताओं की शिकायत पर आर्थिक अपराध शाखा ने डांसर सपना चौधरी के खिलाफ मामला दर्ज किया है। शिकायतकर्ताओं ने सपना चौधरी पर अग्रीमेंट बीच में खत्म करने का आरोप लगाया है. पीड़ितों का कहना है कि डांस प्रोग्राम करने के लिए सपना ने लाखों रुपये लिए, लेकिन उन्होंने आयोजन में शिरकत नहीं की। कुल मिलाकर उन्होंने 6 करोड़ रुपये के करीब राशि ली है, लेकिन डांस प्रोग्राम नहीं किया। सपना चौधरी के खिलाफ मामला दर्ज कराने वालों में 3 लोग दिल्ली के हैं, जबकि 2 हरियाणा से हैं।
पुलिस ने बताया कि प्राथमिकी के अनुसार, चौधरी ने विभिन्न आपात स्थितियों का हवाला देते हुए शिकायतकर्ता से कई मौकों पर धन लिया। शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि चौधरी ने नया घर खरीदने के बहाने चावला से ऋण का प्रबंध कराया, लेकिन कई वादे करने के बावजूद शेष राशि का भुगतान नहीं किया।
इसके बाद जनवरी 2020 में चौधरी और चावला के बीच एक और करार हुआ। इस दौरान चौधरी ने पुष्टि की कि उनके पास शिकायतकर्ता और उनके साथियों का 3.5 करोड़ रुपए का ऋण बकाया है।
चावला ने आरोप लगाया कि इसके बाद मार्च 2020 में उन्हें पता चला कि चौधरी ने गुड़गांव में उनकी कंपनी का शाखा कार्यालय खोला है और इसमें उनका एक कर्मी भी शामिल है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है और मामले की जांच जारी है।