जेल में बंद हास्य कलाकार मुनव्वर फारुकी के ‘आपत्तिजनक’ बोलों पर रहस्य गहराया


सीएसपी परिहार ने बताया, ‘‘हमें पता चला है कि गिरफ्तार आरोपियों में शामिल नलिन यादव तथा अन्य स्थानीय लोगों ने फारुकी का हास्य कार्यक्रम आयोजित किया था और हर दर्शक से टिकट के बदले 500-500 रुपये भी वसूले गए थे। इस हिसाब-किताब की भी जांच की जा रही है।’’



इंदौर। भाजपा की एक स्थानीय विधायक के बेटे की शिकायत पर पुलिस ने तीन दिन पहले आनन-फानन कार्रवाई करते हुए गुजरात के हास्य कलाकार मुनव्वर फारुकी को गिरफ्तार तो कर लिया। लेकिन इस विषय में रहस्य गहरा गया है कि उन्होंने शहर में नववर्ष पर आयोजित कार्यक्रम में आखिर ऐसा क्या कह दिया था जिसे लेकर उनके खिलाफ धार्मिक भावनाओं को जान-बूझकर ठेस पहुंचाने के आरोप से जुड़े संगीन प्रावधानों में आपराधिक मामला दर्ज कर लिया गया।

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि शहर के 56 दुकान क्षेत्र के एक कैफे में एक जनवरी (शुक्रवार) की दोपहर 04:30 बजे के आस-पास शुरू हुए विवादास्पद कार्यक्रम को लेकर फारुकी और इस आयोजन से जुड़े चार अन्य लोगों के खिलाफ इसी तारीख की रात 10:40 बजे मामला दर्ज किया गया था। यह मामला भारतीय दंड विधान की धारा 295-ए (किसी वर्ग की धार्मिक भावनाओं को आहत करने के इरादे से जान-बूझकर किए गए विद्वेषपूर्ण कार्य), धारा 298 (धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के इरादे से जान-बूझकर कहे गए शब्द) और अन्य सम्बद्ध प्रावधानों के तहत दर्ज किया गया था।

भाजपा विधायक मालिनी लक्ष्मणसिंह गौड़ के बेटे एकलव्य सिंह गौड़ ने यह मामला दर्ज कराते हुए आरोप लगाया है कि हास्य कार्यक्रम में हिंदू देवी-देवताओं, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और गोधरा कांड को लेकर अभद्र टिप्पणियां की गई थीं। चश्मदीदों के मुताबिक एकलव्य अपने साथियों के साथ बतौर दर्शक इस कार्यक्रम में पहुंचे थे। उन्होंने कथित आपत्तिजनक टिप्पणियों के विरोध में जमकर हंगामा किया और कार्यक्रम रुकवाने के बाद फारुकी समेत पांच लोगों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया था।

बहरहाल, मामले के तूल पकड़ने के बाद अब पुलिस इस सवाल का सीधा जवाब टाल रही है कि हास्य कार्यक्रम में फारुकी ने कौन-सी ‘‘आपत्तिजनक” बात कही थी जिसके आधार पर उनके खिलाफ धार्मिक भावनाएं आहत करने का मामला दर्ज किया गया है? इस बारे में पूछे जाने पर शहर पुलिस अधीक्षक (सीएसपी) बीपीएस परिहार ने सोमवार को ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘हमने पहली नजर में पुख्ता आरोपों के आधार पर ही मामला दर्ज किया है। हम हास्य कार्यक्रम के वीडियो फुटेज के आधार पर विस्तृत जांच कर रहे हैं कि इसमें किस हास्य कलाकार ने क्या कहा था?’’

उधर, फारुकी के वकील अंशुमन श्रीवास्तव ने कहा, ‘‘युवा हास्य कलाकार के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी में लगाए गए आरोपों से यह बिल्कुल भी स्पष्ट नहीं होता कि फारुकी ने हिंदू देवी-देवताओं, केंद्रीय गृह मंत्री और गोधरा कांड को लेकर आखिर क्या टिप्पणी की थी?’’

श्रीवास्तव ने दावा किया कि युवा हास्य कलाकार के खिलाफ दलीय राजनीति से प्रेरित होकर मामला दर्ज कराया गया है तथा पुलिस ने भाषण तथा अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के संवैधानिक प्रावधानों की अनदेखी की है।

गौरतलब है कि गिरफ्तारी के बाद फारुकी और अन्य आरोपी फिलहाल न्यायिक हिरासत के तहत एक स्थानीय जेल में बंद हैं। शहर की एक अदालत उनकी जमानत अर्जियां खारिज कर चुकी है। इस आदेश को चुनौती देते हुए सत्र न्यायालय में आरोपियों की ओर से सोमवार को नयी जमानत याचिका पेश की गई।

इस बीच, इंस्टाग्राम पर जेनोशा एग्नेस के नाम से चल रहे खाते से डाली गई पोस्ट में कहा गया है, ‘‘मैं इंदौर में एक जनवरी को आयोजित हास्य कार्यक्रम में (दर्शक दीर्घा की) दूसरी कतार के बीच में मौजूद थी।’’

इस इंस्टाग्राम पोस्ट में दावा किया गया है कि हास्य कार्यक्रम में फारुकी की प्रस्तुति उनकी दिल्ली यात्रा और उनके दोस्त की शादी के विषयों पर आधारित थी तथा ‘‘हास्य कलाकार ने अपने चुटकुलों के जरिये न तो किसी धर्म को निशाना बनाया था, न ही उनकी प्रस्तुति किसी भी रूप में अनादरपूर्ण थी।’’

सीएसपी परिहार ने बताया, ‘‘हमें पता चला है कि गिरफ्तार आरोपियों में शामिल नलिन यादव तथा अन्य स्थानीय लोगों ने फारुकी का हास्य कार्यक्रम आयोजित किया था और हर दर्शक से टिकट के बदले 500-500 रुपये भी वसूले गए थे। इस हिसाब-किताब की भी जांच की जा रही है।’’

परिहार ने बताया कि मामले की विस्तृत जांच के तहत हास्य कार्यक्रम में मौजूद दर्शकों के बयान भी दर्ज किए जाएंगे।

उन्होंने बताया कि शहर के एक कैफे में इस कार्यक्रम के आयोजन से जुड़े एक और आरोपी सदाकत खान को गिरफ्तार किया गया है। इस मामले में कैफे के मालिक की भूमिका की भी जांच की जा रही है।



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